शिक्षा

स्कूलों को किताबें दान कर संवार रहे नौनिहालों का भविष्य

पहले चरण में दूरस्थ क्षेत्र के विद्यालयों को पुस्तकें भेंट कर रहे धर्म सिंह
पाठ्यक्रम के अलावा प्रतियोगी परीक्षाआें की तैयारी करने से संबंधित किताबें
देहरादून । पिछले दिनों से स्कूल पॉलिटिक्स के नाम पर कुछ सियासी दल जनता के बीच अपनी राजनीतिक पैठ मजबूत करने की जुगत में लगे हुए हैं। पर सियासत से इतर  कोरोनाकाल में कुछ लोग एेसे भी सामने आए हैं जो छात्र-छात्राआें को निस्वार्थ भाव से ऑनलाइन पढ़ा भी रहे हैं और स्कूलों में किताबें भी दान कर रहे हैं। मसूरी के एक प्रतिष्ठ्ति स्कूल में पढ़ाने वाले शिक्षाविद् व बहुभाषाविद् धर्म सिंह फर्स्वाण भी एेसा ही सराहनीय कार्य कर रहे हैं। कोरोना महामारी के कारण सरकारी व प्राइवेट स्कूल बंद हैं। ऐसे में धर्म सिंह पिछले आठ-नौ माह से छात्र-छात्राआें को ऑनलाइन पढ़ा भी रहे हैं और करियर संवारने के लिए उन्हें जर्मन, फ्रेंच आदि विदेशी भाषाआें का ज्ञान भी दे रहे हैं।
अब उन्होंने दूर-दराज के क्षेत्रों में स्थित स्कूलों में पुस्तकें दान करने का बीड़ा उठाया है। शुरुआती चरण में वह थराली विधानसभा के अंतर्गत आने वाले देवाल, नारायणबगड़, थराली व घाट विकासखंडों के दूरस्थ क्षेत्रों में स्थित चालीस स्कूलों (राजकीय इंटरमीडिएट कालेज) को 10—10 हजार की पुस्तकें भेंट कर चुके हैं। इसका उद्देश्य कि स्कूल में पढऩे वाले छात्र-छात्राएं इन किताबों की मदद से पाठ्यक्रम के अलावा सामान्य ज्ञान, समसामियिकी आदि का ज्ञान भी प्राप्त कर सकते हैं। क्योंकि धर्म सिंह स्कूलों को जो किताबें भेंट कर रहे हैं उनमें पाठ्यक्रम की पुस्तकों के अलावा प्रतियोगी परीक्षाआें की तैयारी करने से संबंधित पुस्तकें भी शामिल हैं। वह बताते हैं कि उनका सपना है कि प्रत्येक राजकीय इंटरमीडिएट कालेज में लाइब्रेरी हो। ताकि छात्र-छात्राएं नौंवी कक्षा से ही प्रतियोगी परीक्षाआें की तैयारी कर सके। बताया कि पहले चरण में दूर-दराज के क्षेत्रों में स्थित विद्यालयों को निशुल्क किताबें भेंट करने का लक्ष्य है। शिक्षा सुधार व नौनिहालों के भविष्य को संवारने की दिशा में धर्म सिंह द्वारा किए जा रहे कार्य को पौड़ी संसदीय क्षेत्र के सांसद तीरथ सिंह रावत ने भी सराहा है। पिछले दिनों क्षेत्र भ्रमण के दौरान सांसद और स्थानीय विधायक ने उन्हें प्रशस्ति पत्र प्रदान कर सम्मानित किया। शैक्षणिक गतिविधियों के साथ ही सामाजिक कार्यों में भी वह सक्रिय हैं। कोरोना महामारी के दौरान उन्होंने आर्थिक रूप से कमजोर लोगों की मदद की और उन्हें राशन सामाग्री वितरित की ।
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